lord-hanuman हम सब हनुमान चालीसा पढते हैं, सब रटा रटाया। क्या हमे चालीसा पढते समय पता भी होता है कि हम हनुमानजी से क्या कह रहे हैं या क्या मांग रहे हैं? बस रटा रटाया बोलते जाते हैं। आनंद और फल शायद तभी मिलेगा जब हमें इसका मतलब भी पता हो। तो लीजिए पेश है श्री हनुमान चालीसा अर्थ सहित!! …
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देखा लखन का हाल तो श्री राम रो पड़े
देखा लखन का हाल तो श्री राम रो पड़े ।अंगत सुग्रीव जामवंत बलवान रो पड़े ॥ लंका विजय की अब मुझे, चाहत नहीं रही ।मुझमें धनुष उठाने की, ताकत नही रही ।रघुवर के साथ धरती, आसमान रो पड़े ॥ करने लगे विलाप, श्री राम फुटकर ।क्या मै जवाब दूँगा, अयोध्या में लौटकर ।जितने थे मन में राम के, अरमान रो …
Read More »तत्काल फल देती है हनुमान जी की साधना
अतुलित बलधामं नमामि स्वर्णशैलाभदेह नमामि दनुज–बल–कृशानु नमामि, ज्ञानिनामग्रगण्यम् नमामि। सकल गुणनिधानं नमामि वानराणामधीशं नमामि। रघुपति प्रियभत्तं नमामि वातजातं नमामि।। आज का भोगोन्मुख मानव अमर्यादित कामाचार, अभक्ष्य भक्षणादि प्रवृत्तियों में फंसकर किंकर्त्तव्य विमूढ़ हो रहा है। जहां कहीं यत्र-तत्र थोड़ी-बहुत धार्मिकता या आध्यात्मिकता के अंश हैं, तो वहां उनके आचरण में दम्भ ईर्ष्या-द्वेष, पाखण्डादि की दुष्प्रवृत्तियां भी दृष्टिगोचर हो रही हैं। …
Read More »जय जय जय हनुमान गोसाईं कृपा करो महाराज
दोहा: बेगी हरो हनुमान महाप्रभु, जो कछु संकट होए हमारो | कौन से संकट मोर गरीब को जो तुम से नहीं जात है टारो || जय जय जय हनुमान गोसाईं, कृपा करो महाराज | तन मे तुम्हरे शक्ति विराजे, मन भक्ति से भीना | जो जन तुम्हरी शरण मे आये, दुःख दरद हर लीना | महावीर प्रभु हम दुखियन के …
Read More »हे हनुमान बहू बलवान भक्ति ज्ञान वराग्य की खान
हे हनुमान बहू बलवान, भक्ति ज्ञान वराग्य की खान |संकट मोचन तू कहलाये | राम बिना तुझे कुछ ना भाये | तेरा द्वार जो भी खटकाये, बिन कुछ पाए घर नहीं जाए || दुर्बल को बलवान बनाये | हर संकट पल मे टल जाए | तेरा गान करे जो कोई, उसे ना कोई विपदा होई || हर मुश्किल आसन तू …
Read More »आरती कीजे हनुमान लला की
आरती कीजे हनुमान लला की | दुष्ट दलन रघुनाथ कला की || जाके बल से गिरिवर कांपे | रोग दोष जाके निकट ना जांके || अनजनी पुत्र महा बलदाई | संतन के प्रभु सदा सही || दे बीरा रघुनाथ पठाए | लंका जारि सिया सुधि काये || लंका सो कोटि समुद्र की खायी | जात पवन सुत बार ना लायी …
Read More »महावीर हनुमान गोसाई हम है तुमरे शरणाई
महावीर हनुमान गोसाई, हम है तुमरे शरणाई। सिंधूर सजीली प्रतिमा, मंदिर में मेरे समाई। एक हाथ गदा तोहे सोहे, एह हाथ गिरिधारी। दर्शन करत मोरी अखियाँ, भक्ति की ज्योति जगाये॥ वानर मुखमंडल प्यारा,दर्शन से मिटे भय सारा। है दिव्य नयन, ज्योतिर्मय, हर ले जीवन अँधियारा। श्री राम नाम की चदरिया, तन पे तुम्हारे लहराई॥ जिसपर कृपा हो तुम्हारी, बन जाये …
Read More »आ लौट के आजा हनुमान तुम्हे श्री राम बुलाते हैं
आ लौट के आजा हनुमान, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं। जानकी के बसे तुममे प्राण, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं॥ लंका जला के सब को हरा के तुम्ही खबर सिया की लाये। पर्वत उठा के संजीवन ला के तुमने लखन जी बचाए। हे बजरंगी बलवान, तुम्हे हम याद दिलाते हैं॥ पहले था रावण एक ही धरा पे, जिसको प्रभु ने …
Read More »जिनके मन में बसे श्री राम जी उनकी रक्षा करें हनुमान जी
जिनके मन में बसे श्री राम जी, उनकी रक्षा करें हनुमान जी । जब भक्तों पर विपदा आई, तब आये हनुमंत गोसाई । कृपा राम भक्तो पर करते, उनकी पीड़ा को हर लेते । जय कपीष बलवान की ॥ राम कथा के अद्बुत नायक, रामदूत भक्तो के सहायक । जय जय जय प्रभु हितकारी, ध्यान करूँ नित मंगलकारी । दे …
Read More »हनुमान जी आप बजरंग बली महावीर
हनुमान जी आप बजरंग बली महावीर ||टेर|| भक्तजनों का काज सारिया, जब जब पडी भक्तों पर भीर ||1|| चारों जुगां मेँ विचरण करता, आपरो अजर अमर शरीर ||2|| संजीवनी कारण धौलागिरी धर लायो, जब लाग्यो लक्षमण रे तीर ||3|| कर कमल में गदा धारी, जडीया मोती नवलख हीर ||4|| मंगल शनि तो दिन आपरे, तेल सिँदूर शोभे शरीर ||5|| माता …
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