परम आदर्णीय माँ दुर्गा जी को चरण स्पर्श स्वीकार हो भक्तों की मनोकामना पूर्ण करने बालीं माँ दुर्गा जी की सारे संसार में हरपल जय हो
Read More »Bhajan/Aarti / Mantra/ Chalisa Lyrics
स्वामी परमानंद जी महाराज की वाणी
है आज नही तो कल नही परसो मतलब ये गया जैसे 40, 50 बर्ष गए जीवन के गए न 45,35 गए पता नही चल पाया अभी सुख की खोज में ही लगे हुऐ है सुख के साधनों को ही जुटा रहे हैं
Read More »श्री वृंदावन धाम का नज़ारा
जहां हर बच्चा राधा कृष्ण जी का स्वरुप है , जहां पढाई का पहला अक्षर भगवान् श्री हरी जी के नाम से है | यमुना जी का कल कल करता पानी, फल से लदे वृक्ष, फूलों के झुण्ड, भवरों की गुंजन, हरी नाम की रास लीलाओं के गान
Read More »पुरुषोतम मास /अधिक मास माहात्म्य अध्याय – 5
adhik mas:- मल मास द्वारा अपने मर जाने की प्रार्थना भगवन श्री हरि को करना देवऋषि नारद जी ने भगवान श्री नारायण से पूछा:- हे महाभाग ! चरणों में पड़े अधिक मास को भगवान श्री हरि ने क्या उतर दिया और उससे क्या क्या कहा था? वह सम्पूर्ण वृतांत कृपा करके मुझसे विस्तारपूर्वक कहिये . हे अर्जुन! बैकुण्ठ का वृत्तान्त हम तुम्हारे सम्मुख …
Read More »पुरुषोतम मास /अधिक मास माहात्म्य अध्याय – 3
अधिक मास माहात्म्य, तृतीय अध्याय, मल मास का बैकुठ में जाना सूतजी के श्री मुख से पवन कथा सुनते हुए ऋषि बोले:- हे महाभाग! नर के मित्र नारायण नारद के प्रति जो शुभ वचन बोले, वह आप विस्तार पूर्वक हमसे कहें । हे नारद! पहले महात्मा श्रीकृष्णचन्द्र ने राजा युधिष्ठिर से जो कहा था वह मैं कहता हूँ सुनो । …
Read More »पवित्रीकरण मंत्र
ॐ अपवित्रः पवित्रो वा सर्वावस्थां गतोऽपिवा ।।यः स्मरेत्पुण्डरीकाक्षं स बाह्यभ्यन्तरः शुचिः ॥ॐ पुनातु पुण्डरीकाक्षः।।
Read More »श्री कृष्ण चालीसा
॥ दोहा॥बंशी शोभित कर मधुर, नील जलद तन श्याम ।अरुण अधर जनु बिम्बफल, नयन कमल अभिराम ॥ पूर्ण इन्द्र, अरविन्द मुख, पीताम्बर शुभ साज ।जय मनमोहन मदन छवि, कृष्णचन्द्र महाराज ॥ ॥ चौपाई ॥जय यदुनंदन जय जगवंदन। जय वसुदेव देवकी नन्दन॥ जय यशुदा सुत नन्द दुलारे। जय प्रभु भक्तन के दृग तारे॥ जय नट-नागर, नाग नथइया॥ कृष्ण कन्हइया धेनु चरइया॥ …
Read More »GAYATRI MANTRA KI SHAKTI || गायत्री मंत्र का जाप और उच्चारण विधि
GAYATRI MANTRA KI SHAKTI || गायत्री मंत्र का जाप और उच्चारण विधि
Read More »जयनारायण शर्मा उर्फ बापजी का किस्सा
बापजी की समझ में आ गया कि उनके रूप में कौन आया था। उन्होंने उसी दिन संन्यास ले लिया और फिर कभी न्यायालय या अपने घर नहीं आये।
Read More »गणेश मंत्र
इस मंत्र के जाप से मन को शांति मिलती है आपकी काम के प्रति एकाग्रता बनी रहती है और मन के साथ शरीर भी स्वस्थ बना रहता है।
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