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Panchatantra

राजा और फकीर !!

विरक्त संत एकांत में भगवान् की भक्ति-साधना में मस्त रहते हैं। एक बार संत कवि कुंभनदास को एक बादशाह ने अपने महल में आने के लिए बुलावा भेजा। संत ने कागज पर लिखकर दिया, ‘संतन कहा सीकरी सो काम, आवत जात पन्हैया टूटे-बिसर जाए हरिनाम।’ यानी मुझे राजा व उसके महल से क्या लेना-देना है। वन का एकांत छोड़कर वहाँ …

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मन के जीते जीत !!

भारतीय संस्कृति में शुद्धता-पवित्रता को सर्वोपरि महत्त्व दिया गया है। कहा भी गया है, ‘अद्विशात्राणि शुध्यति मनः सत्येन शुध्यति विद्यातपोभ्यां भूतात्मा बूद्धिज्ञनित शुध्यति ।’ यानी जल से स्नान करने से शरीर, सत्याचरण से मन, विद्या और तप से आत्मा तथा ज्ञान से बुद्धि की शुद्धि होती है। शास्त्रकार कहते हैं, ‘स्व मनो विशुद्धिम्तीर्थं अरथत् अपना विशुद्ध मन सर्वोपरि तीर्थ है। …

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भक्त की कसौटी !!

एक बार अर्जुन ने भगवान् श्रीकृष्ण से प्रश्न किया, ‘आपको किन-किन सद्गुणों वाला भक्त प्रिय है?’ श्रीकृष्ण ने बताया, ‘जो किसी प्राणी से द्वेष नहीं करता, सबसे सद्भाव व मैत्री भाव रखता है, सब पर करुणा करता है, क्षमाशील है, ममता और अहंकार से रहित है, सुख-दुःख में एक समान रहता है, वह भक्त मुझे प्रिय है।’ ‘स्वर्ग के अधिकारी …

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वाणी का संयम !!

दार्शनिकों ने इंद्रियों के संयम को जीवन की सफलता का प्रमुख साधना कहा है। देवर्षि नारद उपदेश देते हुए कहते हैं, ‘इंद्रियों का आवश्यक कर्मों को संपन्न करने में कम-से-कम उपयोग करना चाहिए। मन पर नियंत्रण करके ही इंद्रिय-संयम संभव है। वाणी का जितना हो सके, कम उपयोग करने में ही कल्याण है।’ वाणी के संयम के अनेक प्रत्यक्ष लाभ …

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हाथी को चुनौती देने वाला भँवरा !!

एक दिन, गोबर में रहने वाले भँवरे की निगाह मेज पर रखी शराब की खाली बोतल पर पड़ी। वह बोतल के पास गया और उसमें बची- खुची बूंदें पी गया जिससे उसे नशा चढ़ गया। इसके बाद वह खुशी – खुशी गुंजन करता हुआ वापस गोबर के ढेर में चला गया। पास से ही एक हाथी गुजर रहा था। गोबर …

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गधा, मुर्गा और शेर !!

एक बाड़े में एक गधा, एक मुर्गा साथ रहा करते थे। एक दिन एक शेर उस गधे के ऊपर झपटने ही वाला था कि मुर्गे ने उसे देख लिया और जोर से चिल्ला दिया। शेर अचानक उसकी आवाज सुनकर डर गया और भागने लगा। गधे ने शेर को भागते देखा तो बहुत प्रसन्न हुआ। उसने सोचा कि अगर मैं जंगल …

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तीन सूअर !!

एक समय की बात है, तीन सूअर थे। उन्होंने अपना घर छोड़कर कहीं दूर जाने का निश्चय किया। एक जंगल में पहुँचकर उन तीनों ने अपना-अपना घर बनाया। पहले सूअर ने फूस से अपना घर बनाया। दूसरे ने लकड़ी का घर बनाया और तीसरे सूअर ने ईंटों से पक्का घर बनाया। एक रात, एक भूखा भेड़िया कहीं से घूमता हुआ …

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मुर्गे का घमंड !!

दो मुर्गे अन्य जानवरों के साथ एक फार्म पर रहते थे। एक मुर्गा बोला, “मैं सब जानवरों का राजा हूँ।” दूसरा मुर्गा उसकी बात काटते हुए बोला, “तुम नहीं, बल्कि मैं यहाँ का राजा हूँ।” पहला मुर्गा थोड़ा समझदार था। इसलिए वह बोला, “हम दोनों लड़ाई की प्रतियोगिता रखते हैं जो इस लड़ाई में जीतेगा वही राजा बनेगा।” दूसरा मुर्गा …

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दो मित्र !!

एक बार दो मित्रों को किसी काम से दूसरे गाँव जाना था। मार्ग में एक मित्र ने पेड़ पर तलवार लटकती हुई देखी। उसने आगे बढ़कर वह तलवार पकड़ ली और खुशी से चिल्लाया,”मुझे कितनी बढ़िया तलवार मिली है।” दूसरे मित्र ने उसे टोकते हुए कहा, “हम दोनों साथ सफर कर रहे हैं, इसलिए ‘मुझे’ मत कहो। तुम्हें कहना चाहिए …

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कपटी बाज !!

एक बाज एक पेड़ की डाली पर रहता था। उसी पेड़ की खोह में एक लोमड़ी रहती थी। एक दिन, जब लोमड़ी अपनी खोह से निकली तो बाज उसमें घुस गया और अपने बच्चों को खिलाने के लिए लोमड़ी के बच्चों को उठाकर ले गया। जब लोमड़ी लौटी, तो उसने बाज से अनुरोध किया कि उसके बच्चे लौटा दे। बाज …

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