मेरे सात गुरु तेरी नौकरी सबसे बाड़िया है सबसे खरी सतगुरु तेरे दरबार की हज़ारी सब से बाड़िया है सबसे खरी सतगुरु तेरे दरबार की हज़ारी सब से बाड़िया है सबसे खरी तेरे दरबार की हज़ारी सब से बाड़िया है सबसे खरी तेरे दरबार की हज़ारी सब से बाड़िया है सबसे खरी ख़ुशनसीबी का जब गुल खिला तब कही जा …
Read More »Tag Archives: कुच्छ
अब जाग मुसाफिर होश मे आ
अब जाग मुसाफिर होश मे आ अब जाग मुसाफिर होश मे आ अब जाग मुसाफिर होश मे आ कुच्छ मोल साँझ इश्स जीवन का कुच्छ मोल साँझ इश्स जीवन का स्वास स्वास पेर कृष्णा भाज ब्रीदा स्वास मत खोए स्वास स्वास पेर कृष्णा भाज ब्रीदा स्वास मत खोए ना जाने या स्वास को आवाँ होये ना हो फिर आवाँ होये …
Read More »दुख सुख दोनो कुच्छ पल के
दुख सुख दोनो कुच्छ पल के, कब आए कब जाए दुख है ढलते सूरज जैसा, शाम ढले ढाल जाए (जे2) दुख सुख दोनो कुच्छ पल के, कब आए कब जाए दुख है ढलते सूरज जैसा, शाम ढले ढाल जाए (जे2) दुख तो हर प्राणी को होवय, राम ने भी दुख झेला धैर्या प्रेम से वन में रहे, प्रभु चौदह बर्ष …
Read More »