द्रोपति न बांध्यो जेख चार तार मम्हारी राधा न बांध्यो ओख प्रेम तार म जात की भीलनी शबरी , दर्शन की प्यासीदर्शन की प्यासी शबरी दर्शन की प्यासीबंधी गया राम भाव सत्कार मम्हारी राधा न बांध्यो ओख प्रेम तार म दुर्योधन का मेवा तजी , विदुर घर आयाविदुर घर आया श्याम विदुर घर आयाबंधी गया श्याम विधुराणी प्यार मम्हारी राधा …
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