Breaking News

काजी का न्याय !!

एक दिन तीन भाई न्याय पाने के लिए काजी के पास गए। उनका मामला बड़ा अनोखा था। वे काजी से बोले, “हमारे पिता की मृत्यु हो चुकी है। मरने से पहले हमारे पिता ने कहा था कि आधी जायदाद बड़े बेटे की होगी.

जायदाद का एक-चौथाई हिस्सा दूसरे बेटे और जायदाद का छठवाँ हिस्सा तीसरे बेटे का होगा। इसलिए हमने उनकी मृत्यु के बाद जमीन-जायदाद को उसी तरह बाँट लिया।

लेकिन हम ग्यारह ऊँटों को नहीं बाँट पा रहे हैं। हम उन्हें किस प्रकार बाँटे?” उनकी बात सुनकर कुछ देर तो काजी सोच में पड़ गया लेकिन फिर बोला,

“यदि तुम्हें एतराज न हो तो मैं तुम्हारे पशु समूह में अपने ऊँट को भी शामिल करना चाहता हूँ।” वे बोले, “नहीं, हमें कोई एतराज नहीं है।” अब उनके पास बारह ऊँट हो गए थे।

तब बड़े बेटे को बारह ऊँटों के आधे छह ऊँट मिले, वहीं दूसरे बेटे को एक-चौथाई के हिसाब से तीन ऊँट मिले और सबसे छोटे बेटे के हिस्से छठवें भाग के हिसाब से दो ऊँट आए।

बटवारा करने के बाद काजी ने अपना ऊँट वापस ले लिया। तीनों भाई काजी के चतुराईपूर्ण न्याय से बहुत खुश थे।

  • Videos
  • Playlists
  • 359 more
  • 18 more
    • Check Also

      राजकुमारी कार्विका

      राजकुमारी कार्विका

      राजकुमारी कार्विका सिंधु नदी के उत्तर में कठगणराज्य की राजकुमारी थी । राजकुमारी कार्विका बहुत …