1- मंगलमयी कार्यक्रमों में वेद-पुराणों के अनुसार घट में इस सृष्टि के रचियता भगवान ब्रह्मा का निवास हैं, घटस्थापना से सभी देवी-देवताओं की पूजा हो जाती है और इसी वजह से घटस्थापना को इतना महत्व दिया जाता है ।
2-सभी विधानों में घटस्थापना को विशेष महत्व दिया गया है, घटस्थापना के बाद ही अन्य देवी-देवताओं की पूजा-आराधना की जाती है क्योंकि ये एक तरह से किसी पूजा के लिए संकल्प लेना हुआ ।
3-जैसा कि शास्त्रों में माना जाता है शक्ति और ऊर्जा के लिए अग्नि और जल का होना अनिवार्य है, इसलिए घटस्थापना के समय घट में जल और उसके ऊपर दीपक प्रज्वलित किया जाता है । जल में चंदन, पंच-पल्लव, पंचामृत, दूर्वा, सुपारी, साबुत हल्दी, कुश, गोशाला मिट्टी डालें घट के नीचे मिट्टी की वेदी बनाएं और उसमें जौ और गेहूं दोनों को मिलाकर बोना चाहिए ।
4-घट पर नारियल का मुख नीचे की तरफ रखने से शत्रु में वृद्धि होती है । नारियल का मुख ऊपर की तरफ रखने से रोगों में वृद्धि होती है, पूर्व की तरफ नारियल का मुख रखने से धन का विनाश होता है, इसलिए नारियल की स्थापना सदैव इस प्रकार करनी चाहिए कि उसका मुख साधक की तरफ रहे ।