Breaking News

शिक्षाप्रदकहानियां- सफलता का रहस्य

Shikshapard Khaniya

एक बार एक नौजवान लड़के ने सुकरात से पूछा कि सफलता का रहस्य क्या है?
सुकरात ने उस लड़के से कहा कि तुम कल मुझे नदी के किनारे मिलो। वो लड़का अगले दिन नदी के किनारे सुकरात से मिला, फिर सुकरात ने नौजवान से उनके साथ नदी की तरफ बढ़ने को कहा। वे दोनों नदी में आगे बढ़ने लगे और जब आगे बढ़ते-बढ़ते पानी गले तक पहुँच गया, तभी अचानक सुकरात ने उस लड़के का सिर पकड़ के पानी में डुबो दिया। लड़का बाहर निकलने के लिए संघर्ष करने लगा, लेकिन सुकरात ताकतवर थे और उसे तब तक डुबोये रखा जब तक कि वो लड़का नीला नहीं पड़ गया फिर सुकरात ने उसका सिर पानी से बाहर निकाल दिया और बाहर निकलते ही जो काम उस लड़के ने सबसे पहले किया वो था हाँफते-हाँफते तेजी से सांस लेना।
थोड़ा सामान्य होकर लड़के ने क्रोधित होकर सुकरात से पूछा – आप क्या मुझे मार डालना चाहते थे?
सुकरात ने शांत स्वर में पूछा- जब तुम डूब रहे थे तो तुम सबसे ज्यादा क्या चाहते थे? लड़के ने उत्तर दिया, “सांस लेना”।
सुकरात ने कहा, “यही सफलता का रहस्य है। जब तुम सफलता को उतनी ही बुरी तरह से चाहोगे जितना की तुम साँस लेना चाहते थे तो वो तुम्हें मिल जाएगी। इसके आलावा और कोई रहस्य नहीं है।
#शिक्षा- शिद्दत ही सफलता का रहस्य है जिसमें आप सब कुछ भुलाकर केवल एक ही लक्ष्य को पाने की चाहत रखते हैं।


 

ek baar ek naujavaan ladake ne sukaraat se poochha ki saphalata ka rahasy kya hai?saamaany
sukaraat ne us ladake se kaha ki tum kal mujhe nadee ke kinaare milo. vo ladaka agale din nadee ke kinaare sukaraat se mila, phir sukaraat ne naujavaan se unake saath nadee kee taraph badhane ko kaha. ve donon nadee mein aage badhane lage aur jab aage badhate-badhate paanee gale tak pahunch gaya, tabhee achaanak sukaraat ne us ladake ka sir pakad ke paanee mein dubo diya. ladaka baahar nikalane ke lie sangharsh karane laga, lekin sukaraat taakatavar the aur use tab tak duboye rakha jab tak ki vo ladaka neela nahin pad gaya phir sukaraat ne usaka sir paanee se baahar nikaal diya aur baahar nikalate hee jo kaam us ladake ne sabase pahale kiya vo tha haanphate-haanphate tejee se saans lena.
thoda saamaany hokar ladake ne krodhit hokar sukaraat se poochha – aap kya mujhe maar daalana chaahate the?
sukaraat ne shaant svar mein poochha- jab tum doob rahe the to tum sabase jyaada kya chaahate the? ladake ne uttar diya, “saans lena”.
sukaraat ne kaha, “yahee saphalata ka rahasy hai. jab tum saphalata ko utanee hee buree tarah se chaahoge jitana kee tum saans lena chaahate the to vo tumhen mil jaegee. isake aalaava aur koee rahasy nahin hai.

Check Also

द्रौपदी का संदेश

द्रौपदी और श्रीकृष्ण के बीच एक गहरी बातचीत, महाभारत के युद्ध के अनुभवों पर ध्यान देने वाली एक कहानी। शब्दों के प्रभाव को समझते हुए धर्म और...