एक बार एक संत के शिष्य ने संत से पूछा ‘गुरुदेव आप हमेशा कहते हैं कि हमें एक क्षण के लिए भी प्रभु की ओरसे ध्यान नहीं हटाना चाहिए। किंतु यह कैसे संभव है? माया का इतना मोहक स्वरूप है जो सभी को अपनी और आकर्षित कर लेता है और वैसे भी जिसे मोक्ष मिलना है, उसे किसी भी समय …
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