प्राचीन काल की बात है । रैवत – मंवतर में वेदमालि नाम से प्रसिद्ध एक ब्राह्मण रहते थे, जो वेदों और वेदांगों के पारदर्शी विद्वान थे । उनके मन में संपूर्ण प्राणियों के प्रति दया भरी हुई थी । वे सदा भगवान की पूजा में लगे रहते थे, किंतु आगे चलकर वे स्त्री, पुत्र और मित्रों के लिए धनोपार्जन करने …
Read More »Tag Archives: grahan
जीवन में गुरु का महत्त्व
प्रत्येक आत्मा को पूर्णता की प्राप्ति होगी और अंत में सभी प्राणी उस पूर्णवस्था का लाभ करेंगे यह बात निश्चित है । हमारी वर्तमान अवस्था हमारे पिछले कार्यों और विचारों का परिणाम है और हमारी भविष्य अवस्था हमारे वर्तमान कार्यों और विचारों पर अवलंबित रहेगी । ऐसा होते हुए भी हमारे लिये दूसरों से सहायता प्राप्त करने का मार्ग बंद …
Read More »निर्जला एकादशी व्रत
हिंदू धर्म में एकादशी के व्रत को महत्वपूर्ण माना गया है । प्रत्येक वर्ष चौबीस एकादशी तिथियां होती हैं। जब मलमास आता है तब इनकी संख्या बढ़कर 26 हो जाती है। ज्येष्ठ मास की शुक्ल पक्ष की एकादशी को निर्जला एकादशी कहते हैं इस व्रत में पानी पीना वर्जित है इसलिये इसे निर्जला एकादशी कहते हैं। व्रतों में निर्जला एकादशी …
Read More »संत कबीरदास जंयती पर विशेष- कबीर दास की शिक्षा
एक ब्राह्मण हमेशा धर्म-कर्म में मग्न रहता था। उसने जीवनभर पूजा पाठ किए बिना कभी भी अन्न ग्रहण नहीं किया था। जब वृद्धावस्था आई तो वह बीमार पड़ गया और अपना अंत समय निकट जानकर विचार करने लगा, काश! प्राण निकलने से पूर्व मुझे गंगाजल की एक बूंद मिल जाती तो मेरे पापों का नाश हो जाता और मुझे मुक्ति …
Read More »समुद्र मंथन से प्राप्त दूसरा रत्न – कामधेनु
भगवान शंकर के विष ग्रहण करने के बाद देवताओं और दैत्यो ने मंथन आरम्भ किया। समुद्र के चारों ओर बड़े जोर की आवाज उत्पन्न हुई। देव और असुरों ने जब सिर उठाकर देखा तो पता चला कि यह साक्षात सुरभिकामधेनु गाय थी। इस गाय को काले, श्वेत, पीले, हरे तथा लाल रंग की सैकड़ों गौएं घेरे हुई थीं। उस समय …
Read More »गणेश जी को दूर्वा(दूब) क्यों चढ़ाई जाती है ?
पौराणिक मान्यता के अनुसार प्राचीन काल में अनलासुर नाम का एक दैत्य था। इस दैत्य के कोप से स्वर्ग और धरती पर त्राही-त्राही मची हुई थी। अनलासुर ऋषि-मुनियों और आम लोगों को जिंदा निगल जाता था। दैत्य से त्रस्त होकर देवराज इंद्र सहित सभी देवी-देवता और प्रमुख ऋषि-मुनि महादेव से प्रार्थना करने पहुंचे। सभी ने शिवजी से प्रार्थना की कि …
Read More »