श्री कृष्ण गोविंद हरे मुरारी हे नाथ नारायण वासुदेवाश्री कृष्ण गोविंद…. मैया यसोदा हरि को जगाएहे लाल जागो अब नैन खोलोद्वारे खड़े गोप बुला रहे है,हे नाथ नारायण वासुदेव, सच्चे सखा है हरि ही हमारे,माता पिता शील सुबंधु प्यारे,भूलो ना भाई दिन रात गाओ,हे नाथ नारायण वासुदेव… देहांत काले तूम सामने हो,वंशी बजाते मनकों लुभाते,गाते यही नाम तन को मैं …
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