पल्लू हवा का पकड़ा,
जाते हुए बादल ने,
आशिक बनाया दिल को,
राधा तेरी पायल,
तेरी आँखों के काजल ने……
भौंहे हैं तीर जैसी,
और मोटे मोटे नैना,
माथे की तेरी बिंदिया,
लूट लिया चैना,
तेरी आँखों के काजल ने……
काली घटाएं सीखे,
तेरी जुल्फों से लहराना,
गज भर की लम्बी चोटी ने,
कृष्णा किया दीवाना,
तेरी आँखों के काजल ने…..
तेरी लम्बी गर्दन देख कर,
शर्माएं मोरनी भी,
थोड़ी सी तू छुई मुई,
थोड़ी सी चोरनी भी,
तेरी आँखों के काजल ने…….
राधा तेरे कानों में है,
कनक वाले झुमकें,
कलियाँ महकती हैं,
बालों में गजरा महके,
तेरी आँखों के काजल न……
लाली लबों पे राधे,
रंग लाल की लगाईं,
कान्हां के कोमल दिल पे,
बिजली है गिराई,
तेरी आँखों के काजल ने……
चलना कमल सिंह ऐसा,
हैरान है हीरनियाँ,
अब छोड़े ना कहीं के,
तुम जान लो सजनियाँ,
तेरी आँखों के काजल ने……