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स्नो व्हाइट और रोज रेड की कहानी!!

एक बार की बात है, एक गांव में एक विधवा औरत अपनी दो बेटियों – स्नो व्हाइट और रोज रेड के साथ रहती थी। स्नो व्हाइट बहुत ही शांत और शर्मीली स्वभाव की थी, वहीं रोज रेड बहुत नटखट और शरारती थी। दोनों बेटियां अपनी मां की मदद करती थीं। तीनों की जिंदगी बहुत ही खुशहाल तरीके से बीत रही थी।

जब शाम होती, तो मां दोनों बेटियों को परियों को कहानियां सुनाती। हर दिन ऐसे ही बीतता और ऐसे ही मौसम बदलते गए।

एक बार सर्दियों की शाम जब स्नो व्हाइट और रोज रेड अपनी मां से कहानी सुन रहीं थीं, तभी अचानक दरवाजे पर दस्तक हुई। दरवाजे की आवाज सुनकर तीनों चौंक गईं। स्नो व्हाइट और रोज रेड की मम्मी ने बच्चियों की चिंता को कम करने के लिए कहा, ‘बच्चियों डरो मत, दरवाजे पर कोई यात्री होगा, जो रास्ता भटक गया होगा।’ मम्मी की बात सुनकर दोनों बच्चियों का डर थोड़ा कम हुआ।

फिर स्नो व्हाइट ने कहा, ‘मां मैं जाकर देखती हूं कि कौन है।’ स्नो व्हाइट ने जैसे ही दरवाजा खोला, सभी के होश उड़ गए। स्नो व्हाइट के सामने एक बड़ा सा भालू खड़ा था। तीनों मां-बेटी डर के मारे चिल्लाने लगीं। तभी भालू ने इंसानों की तरह बात करनी शुरू कर दी। उसने कहा, ‘आप लोग सब डरे नहीं, प्लीज चिल्लाए नहीं, आप लोग मेरी बात सुनें। मुझे बहुत ठंड लग रही है और मुझे भूख भी बहुत लगी है।’ इतना सुनते ही तीनों मां-बेटी शांत हो गई, क्योंकि वो अन्य भालूओं जैसा नहीं था। वो इंसान की तरह बोल रहा था।

फिर मां ने भालू को अंदर आने की इजाजत दी। तीनों ने भालू की मदद की, उन्होंने उसे कंबल दिया और खाने को दिया। भालू और उन तीनों की खूब दोस्ती हो गई थी। पूरी सर्दियों में भालू उनके साथ रहा और हर रोज उनके लिए वो तोहफे भी लाता। ऐसे ही सर्दियों का मौसम बीत गया और भालू के जाने का वक्त आ गया। उस भालू ने उन्हें धन्यवाद किया और उनके घर से वो चला गया।

कुछ दिनों बाद स्नो व्हाइट और रोज रेड जंगल में फल तलाश कर रही थीं। उसी दौरान अचानक उन्होंने किसी के चिल्लाने की आवाज सुनी। फिर वो आगे गईं, तो उन्होंने देखा एक छोटे कद वाले व्यक्ति की लंबी दाढ़ी एक पेड़ से दब गई थी। वो व्यक्ति चिल्लाये जा रहा था, उसने दोनों को मदद के लिए पुकारा। तब स्नो व्हाइट और रोज रेड ने उसकी फंसी दाढ़ी निकालने की बहुत कोशिश की। लेकिन, कुछ भी न हो सका, तभी रोज रेड को एक तरकीब सूझी। रोज रेड ने अपने पास से एक कैंची निकाली, वो आदमी कैंची देख घबरा गया। उसने रोज रेड को कहा, ‘रूक जाओ, तुम क्या कर रही हो, मेरी दाढ़ी मत काटो।’ लेकिन, तब तक बहुत देर हो गई थी, रोज रेड ने उसकी दाढ़ी काट दी। ये देख उस आदमी को बहुत गुस्सा आ गया और उनकी मदद का शुक्रिया किए बिना बड़बड़ाता हुआ वहां से चला गया। दोनों बहनों को उसे देख बहुत मजा आया।

अगले दिन स्नो व्हाइट और रोज रेड नदी के किनारे घूमने निकली। घूमते-घूमते अचानक उन्होंने फिर उस छोटे व्यक्ति की आवाज सुनी। वो आगे गई, तो उन्होंने देखा कि उस व्यक्ति की दाढ़ी इस बार एक मछली ने पकड़ रखी थी। वो व्यक्ति चिल्लाये जा रहा था। फिर दोनों बहनों ने उसकी मदद करने की कोशिश की, लेकिन उसकी दाढ़ी मछली की मुंह से नहीं निकली। अंत में स्नो व्हाइट ने फिर से कैंची से उसकी दाढ़ी काट दी। वो छोटा आदमी फिर से उनका धन्यवाद करने के बजाय गुस्सा होकर बड़बड़ाता हुआ वहां से चला गया। वो दोनों बहनें हंसने लगी। तभी उनकी नजर सामने पत्थर के पास पड़े एक बेहोश व्यक्ति पर गई। वो उसके सामने गईं, तो देखा उसके सिर पर चोट लगी थी। तभी उस व्यक्ति को होश आ गया। लड़कियों ने उससे पूछा, ‘कौन हो तुम?’ तब उसने कहा, ‘मैं एक राजकुमार हूं और मेरा नाम एडम है।’ उसने आगे कहा, ‘मैं अपने भाई जोसफ को ढूंढ रहा हूं। मेरा भाई जेवरों का बैग लेकर जंगल घूमने निकला था, लेकिन सर्दियों से ही वो गायब है। अभी मैंने वैसे ही बैग के साथ एक व्यक्ति को देखा, पर जैसे ही मैं कुछ कर पाता उसने मुझ पर जादू कर बेहोश कर दिया।’ स्नो व्हाइट और रोज रेड ने राजकुमार को अपना परिचय देकर उसकी मदद करने का फैसला किया।

तभी जंगल की तरफ से उन्होंने एक जानवर और एक आदमी की आवाज सुनी। वो लोग उस आवाज के पीछे भागे, तो उन्होंने देखा कि वही छोटा व्यक्ति था, जिनकी मदद स्नो व्हाइट और रोज रेड ने की थी। दोनों बहनों ने कहा, ‘ये तो हमारा दोस्त भालू है और उसके साथ तो वही छोटा व्यक्ति है जिसकी बार-बार दाढ़ी फंस जा रही थी।’

राजकुमार ने कहा, ‘ये तो वही व्यक्ति है, जिसने मेरे भाई का बैग लिया था और मुझे बेहोश किया था।’ राजकुमार ने लड़कियों को रुकने को कहा और खुद तलवार लेकर आगे बढ़ा। वो छोटा व्यक्ति चिल्ला रहा था और भालू को कह रहा था कि यह बैग तुम रख लो। वो भालू गुस्से में था और उसे कह रहा था कि देखो तुम्हारे जादू ने क्या कर दिया। इतने में राजकुमार ने बोला, ‘ये आदमी मेरा है और मैं इसे सजा दूंगा।’ इतने में वो व्यक्ति पेड़ से नीचे कूदा और अपने कद से बहुत लंबा रूप ले लिया। उसने राजकुमार के हाथों से तलवार फेंक दी। वो उनके तरफ उन्हें मारने के लिए आगे बढ़ा, इतने में स्नो व्हाइट ने तलवार उठाकर राजकुमार एडम की तरफ फेंक दी। इतने में भालू बोला, ‘उसकी दाढ़ी काटो, उसकी सारी शक्तियां उसकी दाढ़ी में ही हैं।’ ये सुनते ही राजकुमार ने उसकी दाढ़ी की तरफ निशाना लगाकर तलवार को फेंका, जिससे उसकी दाढ़ी कट गई और वो फिर से छोटा हो गया। राजकुमार जैसे ही उस व्यक्ति को पकड़ने के लिए भागा, वो व्यक्ति वहां से भाग खड़ा हुआ। इसी बीच भालू भी इंसान रूप में आ गया।

वो भालू कोई और नहीं राजकुमार एडम का भाई राजकुमार जोसफ था। एडम ने दौड़कर अपने भाई को गले लगा लिया। जोसफ ने सारी बात अपने भाई को बताई कि कैसे उस पर उस छोटे कद वाले व्यक्ति ने जादू कर उसके जेवर का बैग चुरा लिया था। उसके बाद उसने कहा कि स्नो व्हाइट और रोज रेड ने उसकी खूब सहायता की। राजकुमार एडम और जोसफ को स्नो व्हाइट और रोज रेड से प्यार हो गया। फिर दोनों भाइयों की उनसे धूमधाम से शादी हुई और वो खुशी-खुशी रहने लगे।

कहानी से सीख –

इस कहानी से दो सीख मिलती है, एक यह कि कभी लालच नहीं करना चाहिए और कभी किसी व्यक्ति को उसके रूप से नहीं बल्कि उसके स्वभाव से जानना चाहिए।

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