जिन्दगी हंसाये तो समझना अच्छे कर्मो का फल है, *जब रुलाये तो समझना अच्छे कर्म करने का समय आ गया।* *आत्म_संतुष्टी* पुराने समय की बात है, एक गाँव में दो किसान रहते थे। दोनों ही बहुत गरीब थे, दोनों के पास थोड़ी थोड़ी ज़मीन थी, दोनों उसमें ही मेहनत करके अपना और अपने परिवार का गुजारा चलाते थे। अकस्मात कुछ …
Read More »Pooja Paath
Kanha teri bansi hai jadu bhari
कान्हा तोरी बंसी है जादू भरी नींदिया चुराई मोरी चैन चुराया,चैन चुराया मोरा जीया लुभायाबेकल कर गई मोहे दिन रातीकान्हा तोरी बंसी है जादू भरी| गगरी भरन गई गिर आये बादल छन छनन छन छलके पायल,घेर गई मुझे सखियाँ सहेलीकान्हा तोरी बंसी है जादू भरी| मधुर मुरलिया की तीर सुहानीछवि तोरी न्यारी लीला न्यारीरीजत सब ब्रिज के नर नारीकान्हा तोरी …
Read More »Mangal failaye tera naam hari
मंगल फैलाए तेरा नाम हरितेरे नाम में आनंद आ जाएदुःख चिंता सब मिट जाएतेरे नाम में मन जो लग जाए| निर्मलता हरि नाम से मिलतीजप से भाग्य की रेखा बदलतीउसका जीवन धन्य हैं होतागुरुदीक्षा जिसे मिल जाएहरि नाम में आनंद आ जाए| जो भी मुख से नाम हैं जपतानाम जपने से पाप हैं मिटताबिगड़ी बने उसकी जीवन मेंहरि हरि जो …
Read More »Mere kanha sath nibhana
और नही कुछ तुम से केहना सेवा में तेरी मुझको रेहनामेरे कान्हा मेरे कान्हा मेरे कान्हा साथ निभाना…… तू दाता मैं तेरी पुजारन तेरे दर की मैं हु भिखारन,बन ना चाहू मीरा से जोगन पूरी करदो मेरी तमना,मेरे कान्हा मेरे कान्हा मेरे कान्हा साथ निभाना….. हारे का हो तुम तो सहारा तुम से चलता सब का गुजारादिल से दिल ने …
Read More »भगवान_शिव के “35” रहस्य!
भगवान शिव अर्थात पार्वती के पति शंकर जिन्हें महादेव, भोलेनाथ, आदिनाथ आदि कहा जाता है।* 1. आदिनाथ शिव : -* सर्वप्रथम शिव ने ही धरती पर जीवन के प्रचार-प्रसार का प्रयास किया इसलिए उन्हें ‘आदिदेव’ भी कहा जाता है। ‘आदि’ का अर्थ प्रारंभ। आदिनाथ होने के कारण उनका एक नाम ‘आदिश’ भी है।* 2. शिव के अस्त्र-शस्त्र : -* शिव …
Read More »सिर्फ ‘राम राम’ कह देने से ही पूरी माला का जाप हो जाता है
क्या कभी सोचा है कि बहुत से लोग जब एक दूसरे से मिलते हैं तो आपस में एक दूसरे को दो बार ही “राम राम” क्यों बोलते हैं ? एक बार या तीन बार क्यों नही बोलते ? दो बार “राम राम” बोलने के पीछे बड़ा गूढ़ रहस्य है क्योंकि यह आदि काल से ही चला आ रहा है.हिन्दी की …
Read More »उत्तर शिवजी ही जानें
आपको यह जानकर आश्चर्य होगा की हमारे भारत में ऐसे शिव मंदिर भी है जो केदारनाथ से लेकर रामेश्वरम तक एक सीधी रेखा में बनाये गये है। हमें आश्चर्य है कि हमारे पूर्वजों के पास ऐसा कैसा विज्ञान और तकनीक था जिसे हम आज तक समझ ही नहीं पाये? उत्तराखंड का केदारनाथ, तेलंगाना का कालेश्वरम, आंध्रप्रदेश का कालहस्ती, तमिलनाडू का …
Read More »*नारी गहने क्यों पहनती हैं…….?*
*रामायण के अनुसार* भगवान राम ने धनुष तोड दिया था, सीताजी को सात फेरे लेने के लिए सजाया जा रहा था तो वह अपनी मां से प्रश्न पूछ बैठी, *‘‘माताश्री इतना श्रृंगार क्यों?’’* ‘‘बेटी विवाह के समय वधू का 16 श्रृंगार करना आवश्यक है, क्योंकि श्रृंगार वर या वधू के लिए नहीं किया जाता, यह तो आर्यवर्त की संस्कृति का …
Read More »जिंदगी में चाहिए सफलता, तो सहिष्णुता का गुण अपनाएं –
महात्मा सरयूदास का जन्म गुजरात के पारडी नामक गांव में हुआ था। उनका बचपन का नाम ‘भोगीलाल’ था। बचपन में उन्हें अपने पड़ोसी ‘बजा भगत’ का सत्संग मिला। सरयूदास जी की शिक्षा-दीक्षा बहुत थोड़ी थी। सरयूदास अपने मामा के ही घर पर रहकर उनके व्यापार का कार्य संभालते थे। कुछ दिनों के बाद सरयूदास का विवाह हो गया। पर उनकी …
Read More »नहीं थे राजा, हो रहे थे परेशान और जब मिले तो
एक बड़ा सा तालाब था उसमें सैकड़ों मेंढ़क रहते थे। तालाब में कोई राजा नहीं था। दिन पर दिन अनुशासनहीनता बढ़ती जाती थी और स्थिति को नियंत्रण में करने वाला कोई नहीं था। उसे ठीक करने का कोई यंत्र तंत्र मंत्र दिखाई नहीं देता था। नई पीढ़ी उत्तरदायित्व हीन थी। जो थोड़े बहुत होशियार मेंढ़क निकलते थे वे पढ़-लिखकर अपना …
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