महाराज दशरथ को जब संतान प्राप्ति नहीं हो रही थी तब वो बड़े दुःखी रहते थे…पर ऐसे समय में उनको एक ही बात से हौंसला मिलता था जो कभी उन्हें आशाहीन नहीं होने देता था… और वह था श्रवण के पिता का श्राप….दशरथ जब-जब दुःखी होते थे तो उन्हें श्रवण के पिता का दिया श्राप याद आ जाता था… (कालिदास …
Read More »vikkykyt@yahoo.com
सबसे बड़ा कौन
चार बुढ़िया थीं। उनमें विवाद का विषय था कि हम में बडी कौन है ? जब वे बहस करते-करते थक गयीं तो उन्होंने तय किया कि पड़ौस में जो नयी बहू आयी है, उसके पास चल कर फैसला करवायें। 👱🏻♀️ वह चारों बहू के पास गयीं। बहू-बहू ! हमारा फैसला कर दो कि हम में से कौन बड़ी है ? …
Read More »गुरु नानक देव जी ने कहा
संसार का भ्रमण करते हुए गुरु नानक सच्चे पातशाह ओर मरदाना किसी जंगल से जा रहे थे मरदाना ने कहा महाराज बहुत भूख लगी हैं! नानक जी नो कहा मरदाना रोटियां सेंक ले, मरदाना ने कहा बहुत ठंड हैं, ना तो कोई चुल्हा हैं और न ही कोई तवा हैं और पानी भी बहुत ठंडा हैं! तालाब छोटा था जैसे …
Read More »भारत पाकिस्तान युद्ध और शास्त्री जी
दो घंटे युद्ध और चलता तो भारत की सेना लाहौर पर कब्जा कर लिया होता ! लेकिन तभी पाकिस्तान को लगा की जिस रफ्तार से भारतीय सेना आगे बढ रही है, हमारा तो पुरा अस्तित्व ही खत्म हो जायेगा ! (भारत और पाकिस्तान के बीच 1965 का युद्ध, भारत पाकिस्तान युद्ध का भाग — तिथि- अगस्त सितम्बर 1965 – स्थान …
Read More »जीवन का कड़वा सच
दुनिया की सबसे मशहूर फैशन डिजाइनर और लेखिका करीसादा रोड्रिगेज कैंसर से अपनी मौत से पहले लिखती हैं!! 1. मेरी कार गैराज में दुनिया की सबसे महंगी कार खड़ी है लेकिन मैं अस्पताल के व्हीलचेयर में सवारी करता हूँ!! मेरी अलमारी में 2. घर हर तरह के महंगे कपड़े हीरे गहने गहने अनगिनत महंगे जूते लेकिन मैं अस्पताल द्वारा दी …
Read More »भाईचारे की भावना
भाईचारे की भावना मन को मन से व हृदय से हृदय को जोड़ती है। परिवार और समाज भाईचारे की भावना पर खड़े हैं। परिवार में समरूपता और सभ्य समाज इसी के परिणाम हैं। भाईचारे के वातावरण में प्रेम एवं सद्भाव की दिव्यता छलकने लगती है। इसके अभाव में वैमनस्य, विघटन, अलगाव और अविश्वास का वातावरण बनता है। समाज में दुर्भावनाएं …
Read More »कुत्ते और उसके दिव्यांग मालिक की अनोखी कहानी
लॉकडौउन में वे लोग पिछले कई दिनों से इस जगह पर खाना बाँट रहे थे। हैरानी की बात ये थी कि एक कुत्ता हर रोज आता था और किसी न किसी के हाथ से खाने का पैकेट छीनकर ले जाता था। आज उन्होने एक आदमी की ड्यूटी भी लगाई थी कि खाने को लेने के चक्कर में कुत्ता किसी आदमी …
Read More »हम एक साथ थे, काश वो समय फिर लौट आए ।
पहले भटूरे को फुलाने के लिये उसमें Eno डालिये ….. फिर भटूरे से फूले पेट को पिचकाने के लिये Eno पीजिये जीवन के कुछ गूढ़ रहस्य आप कभी नहीं समझ पायेंगे 🤔 😊😊😊—- पांचवीं तक स्लेट की बत्ती को जीभ से चाटकर कैल्शियम की कमी पूरी करना हमारी स्थाई आदत थी लेकिन इसमें पापबोध भी था कि कहीं विद्यामाता नाराज …
Read More »संसार के सात सुख :-
हमारे अंदर सुख की कामना ही क्यों उठती है ? हम सब जीवों का एक लक्ष्य है। सुख मिले। वो सुख कहाँ है ? कहाँ मिलेगा ? संसार का सबसे बड़ा सुख क्या है ? सुख के पीछे … 1️⃣ पहला सुख निरोगी काया (शरीर का स्वस्थ रहना पहला सुख माना गया है, क्योंकि यदि स्वास्थ्य अच्छा नहीं है …
Read More »भगवान् श्री कृष्ण के लिये समर्पित
मित्रों, मीराबाई भक्तिकाल की एक ऐसी संत हैं, जिनका सब कुछ भगवान् श्री कृष्ण के लिये समर्पित था, यहां तक कि श्रीकृष्ण को ही वह अपना पति मान बैठी थीं, भक्ति की ऐसी चरम अवस्था कम ही देखने को मिलती है, सज्जनों! आज हम श्रीकृष्ण की दीवानी मीराबाई के जीवन की कुछ रोचक बातों को भक्ति के साथ आत्मसात करने …
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