जिस का हु मैं उसे अपना बनाना है ,बांके बिहारी को दिल में वसाना है…… सांसो की लड़ी ना जाने कब टूट जाएराहो में कोई साथी कहा छुट जाएकिस का भरोसा याहा झूठा जमाना हैबांके बिहारी को दिल में बसाना है…… यु ही नही हु मैं उसका दीवाना कोई तो रिश्ता है जन्मो पुरानामैंने तो अब जाके राज ये जाना …
Read More »Gyan Ganga
ईश्वर और परेशान व्यक्ति
एक व्यक्ति के जिंदगी में बहुत उलझने और परेशानी आती रहती थी। एक दिन वह अपने जिंदगी से बहुत ज्यादा परेशान हो चूका था। वह इंसान बहुत गुस्से में था और रात के समय ईश्वर से कहने लगा, “आपने आज मेरा पूरा दिन ख़राब कर दिया। आपने क्यों मेरे साथ ऐसा किया?” तो ईश्वर ने पूछा, “क्यों ऐसा क्या हुआ …
Read More »Tera naam liya mann se tu doda aaya
मुश्किल की घडियो में कोई काम न आया हैतेरा नाम लिया मन से तू दोडा आया है…… इन शब्दों में बाबा गुणगान करू तेरा बिन बोले कर डाला हर काम प्रभु मेराघर घर में जल धारा बन कर तू आया हैतेरा नाम लिया मन से तू दोडा आया है………… हालत बुरे लेकर तेरी चोकठ पर आया जब लौट के देखा …
Read More »Aaja haare ke sahare
आँखों के आँसू, हर पल पुकारे,आजा हारे के सहारे…… गहरी नदी है, तेज़ है धारारात अँधेरी, दूर किनारा -2माँझी बनकर, करके तूँ ही तो,सबको पार उतारे,,,आजा हारे के सहारे ….. आस की माला, टूट गई है,शायद किस्मत, रूठ गई है -2ग़ैर हो गए, जो थे अपने,हम अपनों से हारे,,,आजा हारे के सहारे ….. ऐसा कोई, नज़र न आए,जो इस दिल …
Read More »Holi khelan aayo shyam
होली खेलन आयो श्याम,आज याहि रंग में बोरो री, कोरे-कोरे कलश मँगाओ,रंग केसर को घोरो री,मुख ते केशर मलो,करो याहि कारे से गोरो री,रंग-बिरंगो करो आज,याहि कारे से गोरो री,होली खेलन आयो श्याम,आज याहि रंग में बोरो री, पार पड़ौसिन बोलि,याहि आँगन में घेरो री,पीताम्बर लेउ छीन,याहि पहराय देउ लहँगो री,होली खेलन आयो श्याम,आज याहि रंग में बोरो री, हरे …
Read More »राजा का दावत
एक राजा ने अपने राज्य के सभी ब्राह्मण सभी साधु महात्माओं को भोजन के लिए बुलाया। वह राजा बहुत धर्मात्मा था। लेकिन जहाँ पर भोजन बन रहा था वहाँ आसमान में एक चील गुजर रहा था। उस चील के पंजे में एक सर्प था जो उसके पंजो से छूटकर उस बनते हुए भोजन में आकर गिरा। जिसके कारन वह भोजन …
Read More »एक राजा और उसकी चार पत्नियां
एक राजा की चार पत्नियां थी। वह सबसे ज्यादा प्यार अपनी चौथी पत्नी से करता था। उसका बहुत ध्यान रखता था। उसकी बहुत परवा करता था। वह अपनी तीसरी पत्नी से भी प्यार करता था। लेकिन उसे अपने मित्रों से मिलवाने में, अपने मित्रों को दिखाने में बहुत डरता था। उसे हमेशा यह डर लगा रहता था की यह किसी दूसरे …
Read More »कमजोर यादास्त
एक व्यक्ति अपने जिंदगी में बहुत अमीर बनना चाहता था। और इसकी बजह से वह एक साथ बहुत सारे काम करने लगा। जिसके कारन वह बहुत सारे कामो में उलझ जाता था। और इसकी बजह से धीरे-धीरे उसकी यादास्त कमजोर होने लगी। वह जरुरी बातों को भी भूल जाता था। और धीरे-धीरे उसकी यह भूलने की बीमारी बहुत ज्यादा बढ़ …
Read More »Aayo re aayo nandlal brij me
आयो रे आयो नन्द लाल बिरज माँ,आयो रे आयो नन्द लालबिखरे रंग गुलाल बिखरे रंग गुलाल,बिखरे रंग गुलाल बिरज माँआयो रे आयो नन्द लाल बिरज माँआयो रे आयो नन्द लाल……. लाज करे घूँघट न खोले,पनघट पे पनिहारन बोलेमोह पे रंग न डाल मोह पे रंग न,रंग न डाल बिरज माँआयो रे आयो नन्द लाल बिरज माँ….. नि नि नि सा …
Read More »Bandhan mere saaware tumse jud gya
बंधन मेरे संवारे तुमसे जुड़ गयापंख बिना मेरे दिल का परिंदा देखो उड़ गयाबंधन मेरे संवारे तुमसे जुड़ गया…… दिल ने कही करार न पाया चैन था मेरा खोयाअपना नही था जग में कोई रेहता था खोया खोयावीरा था जीवन का गुलशन तुम से खिल गयाबंधन मेरे संवारे तुमसे जुड़ गया…….. अपनी पलको के आँगन से ओजल कभी न कर …
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